
नीट-पीजी 2022 परीक्षा को लेकर शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। कोर्ट ने परीक्षा स्थगित करने की मांग वाली याचिका खारिज कर दी। कोर्ट ने कहा कि परीक्षा21 मई को ही आयोजित की जाए। क्योंकिइस समय पर परीक्षाटाले जाने सेअराजकता और अनिश्चितता पैदा होगी। तैयारी करने वाले 2 लाख से ज्यादा छात्रों के लिए ये गलत होगा। इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (आईएमए) ने नीट पीजी परीक्षा को स्थगित करने की मांग की थी। इसके लिए आईएमएकी ओर से केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ मनसुख मंडाविया को पत्र लिखा गया था।
सुप्रीम कोर्ट में नीट-पीजी 2022 परीक्षा को लेकर दाखिल याचिका में कहा गया था कि 2021 की मेडिकल पीजी प्रवेश प्रक्रिया अब तक जारी है। ऐसे में 2022 की परीक्षा को कुछ समय के लिए टाल दिया जाए।सुप्रीम कोर्ट ने अपनी टिप्पऐणी में कहा, दाखिले में किसी भी तरह की देरी से मरीजों की देखभाल और अस्पतालों का काम प्रभावित होता है। परीक्षा स्थगित करने की अपील पर विचार किया गया है। विचार-विमर्श के बाद निर्णय लिया गया है कि हम इस समय परीक्षा स्थगित करके मरिजों की देखभाल को प्रभावित नहीं होने दे सकते।
शीर्ष अदालत ने ये भी कहा किराज्य संतुलन बनाने की कोशिश कर रहा है। बड़ी संख्या में ऐसे डॉक्टर हैं, जिन्होंने 2022 की परीक्षा के लिए रजिस्ट्रे शन कराया है।2 लाख 6000 से ज्यादा डॉक्टरों ने परीक्षा के लिए रजिस्ट्रे शन कराया है, जो पिछले 2 वर्षों में परीक्षा में बैठने वाले डॉक्टरों की संख्या से काफी ज्यादा है। कोर्ट ने कहा, परीक्षा में देरी अन्य क्षेत्रों जैसे सुपर स्पेशियलिटी में दाखिले को भी प्रभावित करेगी।