राजस्थान कांग्रेस में पिछले कई दिनों से चल रहे सियासी हलचल के बीच सरकारी मुख्य सचेतक महेश जोशी ने दावा किया कि उन्हें आज गुरूवार को कारण बताओ नोटिस मिला हैं। एआईसीसी की ओर से आज ई मेल पर नोटिस मिला हैं और उन्होंने नोटिस पावती की सूचना ईमेल से भेजी है। अब जोशी 10 दिन में जवाब प्रस्तुत करेंगे। वह कुछ दिन पहले एआईसीसी में जाकर नेताओं को अपनी सफाई दे चुके हैं।
एआईसीसी की ओर से जारी किए गए कारण बताओ नोटिस का जवाब देने का दिन आज पूरा होना था, लेकिन अब जोशी के यह कहने के बाद इसकी अवधि बढ गई है। माना जा रहा है कि इनके जवाब का अध्ययन करने के बाद ही आलाकमान आगे की रणनीति तय करेगा। राजस्थान में चले कांग्रेस के घटनाक्रम और समानांतर विधायक दल की बैठक के मामले को आलाकमान ने गंभीरता से लिया था। इसको लेकर प्रदेश प्रभारी अजय माकन ने अपनी रिपोर्ट सोनिया गांधी को भेजी थी। इसके बाद पार्टी की अनुशासन समिति ने संसदीय कार्य मंत्री शांति धारीवाल, सरकारी मुख्य सचेतक महेश जोशी और आरटीडीसी चेयरमैन धर्मेन्द्र राठौड़ को कारण बताओ नोटिस जारी किया और 10 दिन में जवाब देने को कहा था।
संसदीय कार्यमंत्री शांति धारीवाल ने कहा है कि वे अपना जवाब दे चुके हैं। इसी तरह सरकारी मुख्य सचेतक महेश जोशी ने पहले ये कहा था कि उन्हें नोटिस ही नहीं मिला, ऐसे में जवाब क्या दें। जोशी ने पिछले दिनों नई दिल्ली जाकर कांग्रेस के नेताओं से मुलाकात की थी। उन्होंने राज्यसभा सांसद ओर महासचिव मुकुल वासनिक से मुलाकात की। माना जा रहा हैं कि जोशी ने वासनिक को जयपुर में हुए घटनाक्रम को लेकर अपनी सफाई दी हैं। इसके बाद जोशी ने एक टवीट भी किया हैं, जिसमें उन्होंने ये कहा हैं कि प्रदेश के कांग्रेसजनों की आलाकमान में पूरी निष्ठा हैं और हर कांग्रेसजन के लिए उनका आदेश, आज्ञा और दिशा निर्देश शिरोधार्य हैं।
सीएम अशोक गहलोत और पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट को लेकर पार्टी के आलाकमान को फैसला करना है। पहले माना जा रहा था कि सोनिया गांधी राजस्थान के मुख्यमंत्री के बारे में एक-दो दिन में फैसला ले लेंगी, लेकिन अभी इसके आसार कम लग रहे हैं। दोनों खेमें आलाकमान के फैसले के इंतजार में हैं। ऐसे में सभी की निगाहें एक बार फिर से दिल्ली पर ही हैं। माना जा रहा हैं कि इसे कांग्रेस अध्यक्ष के चुनाव तक भी टाला जा सकता है।
