
राजस्थान में भरतपुर के हनुमान मंदिर के पुजारी को उदयपुर के कन्हैयालाल की तरह गर्दन सिर से अलग करने की धमकी मिली है। पुजारी को धमकी भरा पत्र मिला है, जिसमें लिखा है- पंडित या तो तू मंदिर छोड़ दे, नहीं तो तेरा सिर काट देंगे, तेरे घरवालों को तेरा सिर नहीं मिलेगा, तू समझता है कि तेरे हिमायती है, वे कुछ नहीं कर पाएंगे, तेरा मरना निश्चित है। तेरे लिए 10 दिन का टाइम है। नहीं तो तेरी मौत निश्चित है। जैसे उदयपुर में कन्हैया के साथ हुआ है, वैसा ही तेरे साथ होगा। हम तेरा नाम नहीं जानते हैं, तेरा चेहरा देख लिया है।
मामला मथुरा गेट थाना शहर के एमएसजे कॉलेज परिसर में स्थित हनुमान मंदिर का है। नमक कटरा इलाका निवासी पुजारी तारा चंद शर्मा ने बताया कि वह शुक्रवार सुबह सवा 4 बजे मंदिर आए थे। मंदिर की साफ-सफाई के बाद वह गद्दी पर आकर बैठे। दीवार पर पर्चा चिपका हुआ था। पुजारी ने पर्चा देखा और मंदिर कमेटी को सूचना दी। सूचना पर पुलिस मौके पर पहुंची। पुजारी ने बताया- वह सोशल मीडिया पर भी एक्टिव नहीं हूं और न किसी पोस्ट पर कमेंट किया था। पुजारी को जान से मारने की धमकी मिलने के बाद एबीवीपी से जुड़े छात्रों ने शुक्रवार दोपहर कॉलेज में प्रदर्शन किया। फिलहाल पुजारी की शिकायत पर मथुरा गेट थाना पुलिस मामले की जांच में जुट गई है। एहतियात के तौर पर दो कॉन्स्टेबल तैनात किए गए है। वहीं पुजारी भी अब मंदिर में नहीं है।
हनुमान मंदिर की स्थापना अशैक्षणिक कर्मचारी संघ ने 1980 में की थी। इस पर खेमचंद अग्रवाल नामक व्यक्ति की ओर से हनुमान मंदिर सेवा समिति बनाकर अवैध कब्जा करने का प्रयास किया गया। अग्रवाल ने मनोज शास्त्री को पुजारी नियुक्त कर दिया। पुजारी ने मंदिर परिसर में असामाजिक गतिविधियों को शुरू कर दिया। ऐसे में कॉलेज प्रशासन ने 2017 में देवस्थान विभाग को एक लेटर लिखा।
देवस्थान विभाग के आयुक्त ने उक्त मंदिर को कॉलेज की भूमि पर निर्मित होने और देवस्थान विभाग के अधीन नहीं होने का हवाला देते हुए संचालन की जिम्मेदारी कॉलेज प्रशासन की ही बताई। 2018 में कॉलेज प्रशासन ने एक मंदिर समिति बनाकर देखरेख का जिम्मा अपने हाथ में ले लिया। पुजारी मनोज शास्त्री के असामाजिक गतिविधियों में लिप्त रहने और मंदिर में राजनीतिक कार्यक्रम करने से विवाद फिर बढ़ गया।
कॉलेज प्रशासन ने 25 अप्रैल 2022 को उक्त पुजारी को हटाकर तारा चंद शर्मा को पुजारी नियुक्त कर दिया। इसके बाद से विवाद बढ़ गया था। इस पर कॉलेज की ओर से 30 अप्रैल को मथुरा गेट थाने में पूर्व पुजारी मनोज शास्त्री के खिलाफ मामला दर्ज कराया गया था। आरोप लगाया कि पूर्व पुजारी मनोज शास्त्री व खेमचंद अग्रवाल की ओर से आए दिन साम्प्रदायिक सद्भावना खराब करने का प्रयास किया जा रहा है। आस-पास के लोगों को साथ लाकर प्रिंसिपल रूम में आकर राजकार्य में बाधा डाली जा रही थी। अब पुलिस इस एंगल से भी मामले की जांच करने में जुट गई है।
एएसपी चंद्रप्रकाश दीक्षित का कहना है रात को गश्त की टीम ने सूचना दी कि मंदिर में एक पुजारी के लिए कोई धमकी भरा पत्र चिपका गया है। थाना अधिकारी की ओर से पत्र को कब्जे में लिया गया। पत्र में पुजारी को मंदिर छोड़ने की धमकी दी गई है। मंदिर और पुजारी को लेकर पहले भी विवाद चल रहा था। इसलिए मंदिर पर नया पुजारी रखा गया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।