
देश में मंकीपॉक्स बीमारी के बढ़ते मामलों के बीच केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने कहा कि इस वायरस से घबराने की जरूरत नहीं है, क्योंकि यह कोई नई बीमारी नहीं है। राज्यसभा में बोलते हुए स्वास्थ मंत्री ने कहा कि मंकीपॉक्स को फैलने से रोकने के लिए हरसंभव निगरानी की जा रही है। कोरोना महामारी के दौरान मिले अनुभवों को हम अपनाते हुए काम कर रहे हैं।
इसबीच, केरल में मंगलवार को मंकीपॉक्स का एक और मामला दर्ज किया गया है, जिससे यहाँ कुल मामलों की संख्या पाँच हो गई है। वहीं, भारत में कुल मामलों का आंकड़ा 7 तक पहुँच गया है। केरल में ही 22 साल के एक युवक की मंकीपॉक्स के कारण मौत हुई है।
मंडाविया कहा कि मंकीपॉक्स वायरस, कोरोना की तरह तेजी से नहीं फैलता है। नजदीकी संपर्क में आने पर ही इसका संक्रमण होता है। केंद्रीय मंत्री ने बताया कि मंकीपॉक्स भारत और दुनिया में कोई नई बीमारी नहीं है। 1970 के बाद से दुनिया में बहुत सारे मामले अफ्रीका में देखे गए हैं। जब दुनिया में मंकीपॉक्स के मामले सामने आने लगे, तभी भारत ने अपनी तैयारी शुरू कर दी थी। केरल में पहला मामला मिलने से पहले हमने सभी राज्यों को दिशा-निर्देश जारी किए थे। हमने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सभी सरकारों को लिखा है कि यात्रियों की स्क्रीनिंग रिपोर्ट भी हमें भेजी जाए।
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि मंकीपॉक्स को हमारे वैज्ञानिकों ने अलग-थलग कर दिया है और आईसीएमआर (इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च) ने भी ‘एक्सप्रेशन ऑफ इंटरेस्ट’ जारी किया है। जैसे कोविड के समय किया गया था, ताकि इसका टीका बनाया जा सके।