
सीनियर आईएएस उषा शर्मा को राजस्थान सरकार ने नया मुख्य सचिव नियुक्त कर दिया है। कार्मिक विभाग ने इस संबंध में आदेश जारी कर दिए हैं। मुख्य सचिव पद से निरंजन आर्य आज शाम रिटायर्ड हो जाएंगे। इससे पहले ही कार्मिक विभाग ने आर्य को मुख्यमंत्री का सलाहकार नियुक्त करने के आदेश भी जारी कर दिए। मुख्यमंत्री का सलाहकार बनते ही आर्य को आरपीएससी अध्यक्ष पद की दौड़ से बाहर माना जा रहा है। उषा शर्मा को केन्द्र सरकार ने कल ही राज्य सरकार के आग्रह पर डेपुटेशन से रिलीव किया गया था। आज शाम उन्होंने सचिवालय में चार्ज संभाल लिया।
1985 बैच की आईएएस उषा शर्मा केन्द्र में युवा मामले और खेलकूद मंत्रालय में नियुक्त थीं। वह मुख्य सचिव बनने वाली दूसरी महिला आईएएस हैं। इससे पहले पिछली गहलोत सरकार में कुशल सिंह को मुख्य सचिव बनाया गया था।
उषा शर्मा का कार्यकाल करीब डेढ़ साल का रहेगा। वे जून 2023 तक इस पद पर रहेंगी। इस प्रकारविधानसभा चुनाव से 6 महीने पहले ही रिटायर हो जाएंगी। सरकार को चुनाव से ठीक पहले नया मुख्य सचिव नियुक्त करने का मौका मिलेगा। हालांकि एक्सटेंशन का विकल्प भी खुला रहेगा।उषा शर्मा विधानसभा अध्यक्ष डॉ सीपी जोशी की रिश्तेदार हैं। उनके पति बीएन शर्मा रिटायर्ड आईएएस हैं। वे भी केंद्र-राज्य में वरिष्ठ पदों पर रहे हैं। बीएन शर्मा अभी राजस्थान इलेक्ट्रिसिटी रेग्युलेटरी कमीशन के चेयरमैन हैं।
लंबे समय बाद ऐसा हुआ जब उषा शर्मा की नियुक्ति के मामले में सीनियरिटी नहीं लांघी गई है। 1985 बैच की आईएएस उषा शर्मा के बैच के अब केवल एक आईएएस रविशंकर श्रीवास्तव हैं, जो पहले से ही सचिवालय से बाहर तैनात हैं। बाकी सभी अफसर उषा शर्मा से जूनियर हैं। निरंजन आर्य 1987 बैच के थे, तब बहुत से अफसरों की सीनियरिटी लांघी गई थी। उनसे सीनियर अफसरों को सचिवालय से बाहर करना पड़ा। अब ऐसी नौबत नहीं आएगी। परंपरा के हिसाब से मुख्य सचिव से सीनियर अफसर सचिवालय से बाहर किए जाते हैं। अब निरंजन आर्य के सीएस बनते समय बाहर किए सीनियर अफसरों को वापस सचिवालय में तैनात किया जा सकता है।