भारतीय वायुसेना का सबसे बड़ा युद्धाभ्यास–वायुशक्ति 7 मार्च को पोकरण (जैसलमेर) के चांधन में होगा। तीन साल में एक बार होने वाले युद्धाभ्यास- वायुशक्ति को देखने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी भी पोकरण आ रहे हैं। वायुसेना के पायलट पिछले एक महीने से इसकी तैयारियों में जुटे हैं। देश का सबसे एडवांस फाइटर जेट राफेल भी पहली बार इस युद्धाभ्यास में अपनी मारक क्षमता दिखाएगा।
ऑपरेशन वायुशक्ति में 109 लड़ाकू विमान, राफेल, सुखोई, मिराज, जगुआर व मिग-29 शामिल होंगे। ये फाइटर जेट उड़ान भरके चांधन में दुश्मन के काल्पनिक ठिकानों पर अटैक करेंगे। इसके अलावा 24 अपाचे, चिनूक, लाइट कॉम्बैट हेलिकॉप्टर, सात ट्रांसपोर्ट एयरक्राफ्ट, चार रिमोट कंट्रोल एयरक्राफ्ट भी इस ऑपरेशन वायुशक्ति का हिस्सा होंगे। आकाश व स्पाइडर मिसाइल की क्षमता भी इस युद्धाभ्यास में देखने को मिलेगी।
एक महीने से वायुसेना के जांबाज इस युद्धाभ्यास की तैयारी कर रहे हैं। फाइटर जेट जोधपुर, फलौदी, जैसलमेर, उत्तरलाई, नाल, बठिंडा, आगरा, हिंडन व अंबाला एयरबेस से उड़ान भरके पोकरण के समीप चांधन फायरिंग रेंज में आसमान से जमीन पर निशाना साध रहे हैं। पायलट्स को उनके टारगेट मैप पर समझाए जाते हैं। उड़ान भरने के बाद वे अपने टारगेट को हिट करते हैं। उनका टारगेट कंट्रोल रूम में सीधे स्क्रीन पर देखा जा सकता है।
युद्धाभ्यास में आकर्षण का केन्द्र राफेल फाइटर जेट होगा। ऑपरेशन वायुशक्ति में पहली बार शामिल हो रहा राफेल हवा से जमीन और हवा से हवा में हमला करता हुआ नजर आएगा। इसके फायर पावर पर सभी की निगाह रहेगी। साथ ही राफेल की सुखोई के साथ बेहतरीन जुगलबंदी भी देखने को मिलेगी।
