भाजपा की जनाक्रोश यात्रा के दौरान नेताओं के बीच खींचतान औऱ हाथापाई की खबरें सामने आने लगी है। नागौर में पार्टी विधायक का विरोध हुआ, जबकि अलवर में महिला नेत्रियों के बीच मारपीट हो गई। दो महिला नेताओं के ने एक-दूसरे पर थप्पड़ बरसाए।
नागौर जिले की मकराना विधानसभा के चावण्डिया गांव में भाजपा विधायक रूपाराम मुरावतिया को जनाक्रोश यात्रा के दौरान लोगों का गुस्सा झेलना पड़ा। अपने ही क्षेत्र में लोगों के गुस्से का सामना करने के बाद विधायक को कहना पड़ा कि काम नहीं हुआ है तो वोट मत देना, लेकिन धमकाओ मत। विधायक रूपाराम की अगुवाई में गांव-गांव में रैलियां निकाली गई थीं। इस दौरान उन्हें बरवाला, चावण्डिया और गेलासर गांव में जबरदस्त विरोध झेलना पड़ा। काफी प्रयास करने के बाद भी जब समझाइश सफल नहीं हुई और बात बिगड़ने लगी तो विधायक वहां बैठे श्रमिकों का हाथ जोड़कर चुपचाप निकल गए। श्रमिक पीछे जमकर चिल्लाते रहे।
अलवर के थानागाजी में इस यात्रा से पहले हुई बैठक में दो भाजपा नेताओं के बीच बहस हो गई। बहस इतनी बढ़ गई कि मंडल अध्यक्ष ने दूसरे नेता को धमकाया कि यहां से जाओ नहीं तो उठाकर गाड़ी में पटक दूंगा। उसके बाद महिला मोर्चा संयोजक प्रियंका शर्मा और पूर्व जिला मंत्री रूबिया उपाध्याय के बीच रथ में बैठने को लेकर विवाद शुरू हो गया। रूबिया ने खुद को वरिष्ठ बताया तो प्रियंका शर्मा भड़क गई और कहने लगी, तेरी औकात दो कौड़ी की भी नहीं है…इतना सुनते ही रूबिया आग बबूला हो गई और प्रियंका शर्मा को थप्पड़ जड़ दिया। इसके बाद दोनों भिड़ गईं और एक-दूसरे पर थप्पड़ बरसाती रही। वहां मौजूद कार्यकर्ताओं ने मामला शांत करवाया। थप्पड़बाजी की घटना से पहले थानागाजी के सालेटा में सभा का आयोजन किया गया था। यहां पूर्व कैबिनेट मंत्री हेम सिंह भड़ाना की मौजूदगी में बैठक हो रही थी और मंडल अध्यक्ष श्रवण सिंह भी मौजूद थे। महंत प्रकाश दास के बीच में बोलने पर मंडल अध्यक्ष श्रवण सिंह ने साफ कह दिया कि आप यहां से जाओ। ये आपका मंडल नहीं है। जब वे चुप नहीं हुए तो कहा कि जाओ नहीं तो गाड़ी में पटक दूंगा।
