राजस्थान में चुनाव से पहले कांग्रेस के दो ध्रुवों के बीच फिर ‘रण’ शुरू हो गया है। पूर्व उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत एक बार फिर आमने-सामने आ गए हैं। पायलट ने गहलोत पर बड़ा हमला बोलते हुए भाजपा नेताओं को बचाने और पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के साथ साठगांठ का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस के विपक्ष में रहने के दौरान राजे सरकार में जितने भी घोटाले हुए, अशोक गहलोत ने सब दबा दिए।
पायलट ने कहा कि कांग्रेस पार्टी ने वादा किया था कि सत्ता में आएगी तो भ्रष्टाचार के मामलों की जांच करेंगे, मगर मिलेजुले खेल में सारे मामले दबा दिए गए। जब हमारी सरकार बनी थी, तब भ्रष्टाचार को लेकर हमने कई बातें कहीं थीं, लेकिन अब तक ये काम नहीं हुए है। उन्होंने कहा, मैं 11 अप्रैल को शहीद स्मारक पर एक दिन का अनशन करूंगा। यह अनशन उन बातों को रखने और उन्हें करने को लेकर किया जाएगा, जो अब तक हमारी सरकार द्वारा नहीं हुईं।
पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट ने मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि साल 2013 में हम सत्ता में थे और उसके बाद हमारी सरकार चली गई थी और भाजपा की मजबूत सरकार बनी थी। उस वक्त पार्टी आलाकमान ने मुझे प्रदेश कांग्रेस का अध्यक्ष बनाया और हमने पूरे 5 साल कड़ी मेहनत की थी। वसुंधरा सरकार के घोटालों को जनता के सामने रखा था। तब हमने जनता से वादा किया था कि अगर हम सत्ता में आए तो वसुंधरा सरकार के घोटालों की जांच कराएंगे, लेकिन आज साढ़े 4 साल के बाद भी उन घोटालों की जांच शुरू नहीं हो पाई है। चुनाव में महज 6 महीने का समय बचा है तो फिर हम किस मुंह से जनता के बीच जाएंगे। जनता में संदेश यही जाएगा कि उस वक्त जो आरोप वसुंधरा सरकार पर लगाए थे, वे झूठे थे और केवल मिलीभगत का खेल चल रहा है।
पायलट ने कहा, वसुंधरा सरकार के समय हुए घोटालों की जांच की मांग को लेकर मैंने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को कई पत्र लिखे, लेकिन उन्होंने एक भी पत्र का जवाब नहीं दिया। पायलट ने कहा, मैंने पार्टी हाईकमान और शीर्ष नेताओं को भी कई बार इस मामले को लेकर अवगत करवाया है, लेकिन घोटालों पर कार्रवाई सरकार को करनी है, संगठन को नहीं है।
सचिन पायलट ने कहा कि एक तरफ केंद्र सरकार लगातार विपक्ष के नेताओं पर ईडी, सीबीआई और इनकम टैक्स की कार्यवाही कर रही है। वहीं, राजस्थान में हमारी सरकार होते भी वसुंधरा सरकार के घोटालों पर कोई कार्रवाई नहीं की गई। पायलट ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में सीएम गहलोत द्वारा वसुंधरा सरकार पर लगाए गए आरोपों के वीडियो भी दिखाए, जिसमें गहलोत खान, बजरी और कालीन घोटाले को लेकर वसुंधरा सरकार पर सवाल खड़े कर रहे हैं।
दरअसल, राजस्थान में सीएम अशोक गहलोत और पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट के बीच विवाद की खबरें लगातार आ रही है। कहा जाता है कि पायलट मुख्यमंत्री बनना चाहते हैं और गहलोत उन्हें मौका नहीं दे रहे. राज्य में एक ही पार्टी में दो नेताओं के गुट चलते हैं। एक गहलोत खेमा है तो दूसरा पायलट खेमा है।
